By Tricitynews Reporter
Chandigarh 12th
December:-
पूर्व केंद्रीय रेलमंत्री पवन कुमार बंसल का कहना है कि देश के लोगों को नोटबंदी केमायाजाल में उलझाकर सत्तारुढ़ भाजपा के नंता स्वयं भम्रितावस्था में धूप का आनंद ले रहे हैं। लोग परेशान हैं,मगर भाजपा व उसकी सरकार को लोगों के कष्ट का न तो कोई अहसास है और न ही उसे इससे कोई लेना देना है।उल्टे उनके लिए लोगों के बड़े बड़े दुख भी छोटी छोटी असुविधाएं ही हैं।
पवन कुमार बंसल आज नगर निगम के हो रहे चुनाव में वार्ड नंबर 18 से कांग्रेस के उम्मीदवार देवेंद्र सिंह बबला के लिए सेक्टर 30 में आयोजित एक जनसभा को संबोधित कर रहेथे। बंसल ने कहा कि लोगों को इस नोटबंदी की वजह से कितनी असुविधा हो रही है, इसका अनुमान इसी बात से लगाया जा सकता है कि एक बेटे को अपने मृतृक पिता काअंतिम संस्कार करने के लिए भी पैसे लेेने हेतु बैंक एटीएम की लाईन में लगना पड़ रहा है। एक गर्भवती महिला को एटीएम की लाईन में लगे रहने की वजह से अपने बच्चेको बैंक में जाकर जन्म देना पड़ा है। इसी प्रकार नोटबंदी के चलते विभिन्न कारणों से करीब डेढ़ सौ लोगों की जाने जा चुकी है, मगर भाजपा व इसके नेता इन सब घटनाओंको मामूली और छोटी छोटी सी असुवधिा बता रहे हैं।
पवन कुमार बंसल ने कहा कि असल में आनन फानन में नोटबंदी की घोषणा कर चुके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व उनकी टीम को अब यह नहीं सूझ रहा कि वे आगे क्या करें। इसी लिएआये दिन उनकी इस मामले में एक के बाद एक कर ब्यानबाजी बदलती रहती है। पहले जहां इस नोटबंदी को आतंकवाद को होने वाली फंडिंग रेाकने तथा जाली मुद्रा कीछपाई रेाकने तथा भ्रष्टाचार को रोकने के लिए उठाया गया कदम बताते थे अब उसे डिजिटलाईजेशन की ओर बढ़ाया गया कदम बता रहे हैं। जबकि जिस तरह से यह कदमउठाये जा रहे हैं, ऐसे में तो ये अगले 50 सालों तक भी इसे पूरा नहीं कर सकते। असल में यह नोटबंदी उनकी लोगों से विदेशों से कालाधन लाकर हर एक के खाते में 15-15 लाख रुपये जमा करवाने के किये गये वायदे को पूरा न कर पाने की भड़ास है,जोकि इस तरह से लोगों पर गुस्से के रुप में निकल रही है। उन्होंने कहा कि यह सरकारअडानी, अंबानी और विजय माल्या से तो काला धन निकलवा नहीं सकी, छोटे छोटे बच्चों की गुल्लक, महिलाओं द्वारा की गई बचत की रकम इन्हें काला धन के रुप मेंनजर आई है। उन्होंने कहा कि यह कैसी सरकार है जोकि अपने ही नोटों को कालाधन करार कर उसे कागज बना चुकी है। जबकि लगभग सरकार के आंकड़ों के अनुसार बाहरबाजार में पड़ा सारा पैसा बैंकों में जमा होने को है। फिर यह फिजूल की परेशानी कर करोड़ों रुपये बर्बाद करने के क्या लाभ हुआ, समझ से परे है। उल्टे सरकार ने लोगों केसफेद धन को काला कर दिया।
पूर्व केंद्रीय रेलमंत्री ने कहा कि भाजपा चंडीगढ़ नगर निगम के चुनाव को नोटबंदी के जनदेश के रुप में लेने के सपने देख रही है। उन्होंने लोगों से अपील की कि यही समय हैकि शहर के लोगों को भाजपा और उसके गठबंधन के उम्मीदवारों को कड़ी हार दिखाकर दिल्ली तक यह संदेश देना है कि आपने यह गल्त कदम उठाया था और अब आपकोसही रास्ते पर आना होगा। उन्होंने कांग्रेस के शासन काल में हुए विकास कार्यों का जिक्र करते हुए कहा कि कांग्रेस के राज में जहां हर साल बजट बढक़र मिलता रहा औरउससे पीजीआई व पंजाब विश्वविद्यालय के साथ्ज्ञ साथ पूरे शहर में खूब काम हुए। मगर आज हालात इसके उल्ट हैं और पंजाब विश्वविद्यालय में भूखमरी की नौबत आनेको है।
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