Tuesday, 3 July 2018

श्रीमद् भागवत सप्ताह ज्ञान यज्ञ का आयोजन 6 से 12 जुलाई तक श्री मुनि मंदिर में: भव्य कलश यात्रा के पश्चात् कथा का होगा शुभारंभ


By Tricitynews
Chandigarh 03rd July:- ब्रह्मलीन श्री सतगुरू देव श्री श्री 108 श्री मुनि गौरवानंद गिरि जी महाराज की 31वीं पुन्य बरसी समारोह के उपलक्ष्य में श्रीमद् भागवत सप्ताह ज्ञान यज्ञ का आयोजन 6 जुलाई से 12 जुलाई को सैक्टर 23 डी स्थित श्री महावीर मंदिर मुनि सभा में किया जायेगा। 
इस अवसर पर अन्य कार्यक्रमों की जानकारी देते हुए श्री महावीर मंदिर मुनि सभा के प्रधान दलीप चन्द गुप्ता व पं. दीप शर्मा ने बताया कि 6 जुलाई को श्रीमद् भागवत सप्ताह ज्ञान यज्ञ से पूर्व इसी दिन प्रात: 9 बजे भव्य कलश यात्रा का आयोजन किया जायेगा जो कि सैक्टर 23 के सनातन धर्म मंदिर से आयोजित की जायेगी और इस सैक्टर के विभिन्न स्थानों से गुजरती हुई यह कथा स्थल श्री महावीर मंदिर मुनि सभा में पहुंचेगी। इस कलश यात्रा में साधु आश्रम महिला संकीर्तन मंडल एवं विभिन्न मंदिरों की महिला संकीर्तन मंडलियां भी अन्य भक्तजनों के साथ शामिल होगीं। 
सभा के महासचिव एन.एस.चौहान ने बताया कि श्रीमद् भागवत सप्ताह ज्ञान यज्ञ में पठानकोट/वृदांवन से कथा व्यास अतुल कृष्ण शास्त्री  जी सांय 5:30 बजे से 8:30 बजे तक श्रद्धालुओं को श्रीमद् भागवत् महापुराण का अमृत पान करवायेगें । यह प्रवचन 12 जुलाई तक जारी रहेगें। दलीप चन्द गुप्ता ने बताया कि 12 जुलाई को प्रात: 6 बजे सैक्टर 23 सी व डी में प्रभात फेरी का आयोजन किया जायेगा तद्पश्चात् प्रात: 7:30 बजे हवन किया जायेगा जिसके पश्चात् कथा का भोग व लगभग हजारों आमंत्रित संत महात्माओं का पूजन श्री श्री 108 स्वामी श्री पंचानन गिरी जी महाराज के सानिध्य में किया जायेगा और उन्हेंं वस्त्र, फल तथा दक्षिणा दी जायेगी और विशाल भंडारें का प्रसाद दिया जायेगा इसके बाद आम जनता के लिये भंडारा वितरण किया जायेगा। 
पं. दीप शर्मा ने ब्रह्मलीन श्री सतगुरू देव श्री श्री 108 श्री मुनि गौरवानंद गिरि जी महाराज के जीवन पर प्रकाश डालते हुए बताया कि श्री मुनि महाराज जी ने 26 वर्ष अन्न का त्याग किया था, और 16 वर्षों तक मौन व्रत रखा था और भारत वर्ष के अनेक तीर्थों के दर्शन किये थे। तत्पश्चात उन्होंने चंडीगढ़ के सेक्टर 23 में पहुंच कर एक कुटिया का निर्माण किया जिसे सभी श्रद्धालु मुनि जी की कुटिया कहते थे। उन्होंने यहां पहुंच कर यह महसूस किया कि यहां संत महात्माओं तथा गरीब लोगों  व अन्य यात्रियों के लिए कोई सुविधाजनक स्थान का निर्माण किया जाना चाहिए। जिसमें सर्वप्रथम एक शैड का निर्माण करवाया जिसमें संत महात्माओं तथा गरीब लोगों और यात्रियों के ठहरने व भोजन का नि:शुल्क प्रबंध किया गया। इस विचार के तहत उन्होंने एम.एस रंधावा, पूर्व चीफ कमिश्नर, चंडीगढ़ के कर-कमलों से यहां पूजा स्थल पर नीव पत्थर रखवाया और इस मंदिर में श्रीहनुमान जी की मूर्ति की स्थापना की। जिसके बाद श्री मुनि सभा के द्वारा भगवान के अन्य स्वरूपों की स्थापना करवाई गई। जिसके बाद उन्होंने 1978 में एक धर्मशाला का निर्माण करवाया जिसका नींव शिलानिवास 5 महान् विभूतियों द्वारा करवाया। जिनमें पंजाब के मुख्यमंत्री ज्ञानी जैल सिंह, एक्साईस एंड टैक्सटेशन मंत्री, पंजाब यश, हरियाणा के मंत्री पं.चीरन्जी लाल शर्मा, चंडीगढ़ के चीफ कमिश्रर टीएन चर्तुवेदी तथा कांग्रेस कमेटी के प्रधान पं. केदारनाथ शर्मा के हाथों रखवाया गया था। जिसे मुनि जी ने कहा था कि उन्होंने पांच प्यारों द्वारा इस धर्मशाला का नींव पत्थर रखवाया है।
इस पत्रकार सम्मेलन में श्री महावीर मंदिर मुनि सभा के प्रधान दलीप चन्द गुप्ता व महासचिव एनएस चौहान, पं. दीप शर्मा, उपप्रधान ओ.पी पाहवा, कार्यालय सचिव रामप्रकाश तथा कोषाध्यक्ष सुरेन्द्र कुमार गुप्ता भी उपस्थित थे।

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